Global Warming अमरीका में ग्लोबल वार्मिंग से पड़ रहा खेलों पर असर, बेहाल हो रहे खिलाड़ी

Sep 16, 2023 - 10:30
Global Warming अमरीका में ग्लोबल वार्मिंग से पड़ रहा खेलों पर असर, बेहाल हो रहे खिलाड़ी

Global Warming न्यूयॉर्क. जलवायु परिवर्तन के कारण दुनियाभर में तापमान बढ़ रहा है और भविष्य में इसके और भी ज्यादा बढ़ने की संभावना है। इसका असर खेलों पर भी पड़ रहा है।

फुटबॉल की सर्वाच्च संस्था फीफा भी इससे चिंतित है क्योंकि 2026 में अमरीका, कनाडा और मैक्सिको की संयुक्त मेजबानी में विश्व कप खेला जाएगा। लेकिन परेशानी यह है कि विश्व कप का आयोजन जून-जुलाई में होगा, और इस दौरान बेहद गर्मी पड़ सकती है। विशेषज्ञों का कहना है कि विश्व कप उत्तरी अमरीका में अत्याधिक गर्मी के बीच खेला जाता है तो टीमों के प्रदर्शन पर इसका असर पड़ेगा।

खिलाड़ियों के प्रदर्शन में आएगी गिरावट

पोर्ट्समाउथ यूनिवर्सिटी के प्रोफेसर माइक टिपटन शरीर पर अत्याधिक तापमान से पड़ने वाले प्रभाव के विशेषज्ञ हैं। उन्होंने कहा, खिलाड़ी भीषण गर्मी में उस तरह का प्रदर्शन नहीं कर सकते जैसा कि वे ठंडे मौसम के दौरान करते हैं। इससे वे अपना सौ फीसदी नहीं दे सकते।

हाल ही में न्यूयॉर्क में यूएस ओपन टेनिस टूर्नामेंट के दौरान भीषण गर्मी पड़ी और इस कारण खिलाड़ी काफी परेशान रहे। एक मैच के दौरान गर्मी से बेहाल रूस के खिलाड़ी आंद्रेव रुबलेव और ऑस्ट्रिया के डोमिनिक थिएम (बाएं।)

यूएस ओपन के दौरान मुश्किल में दिखे थे खिलाड़ी

हाल ही में न्यूयॉर्क में 28 अगस्त से 10 सितंबर तक साल का चौथा ग्रैंड स्लेम टेनिस टूर्नामेंट का समापन हुआ। इस दौरान कई खिलाड़ी गर्मी से बेहाल नजर आए। रूस के स्टार खिलाड़ी डेनिल मेदवेदेव ने तो यह भी कहा कि यहां की गर्मी जानलेवा है।

ये है चिंता की सबसे बड़ी वजह

इस साल अमरीका के लोगों को जून और जुलाई में अत्याधिक गर्मी झेलनी पड़ी। 175 शहरों में कम से कम एक सप्ताह तक अत्याधिक गर्मी रही। वहीं, 45 शहरों में असामान्य रूप से गर्मी देखी गई। जुलाई के पहले सप्ताह में लास वेगास में 45 डिग्री, फोनिक्स में 46 डिग्री, आस्टिन में 41 डिग्री और मियामी में 34 डिग्री रहा। कुछ ऐसा ही हाल कनाडा का रहा, जहां गर्मी के कारण जंगलों में लगी आग से कई शहरों में धुआं फैला और लोगों को सांस लेने में परेशानी हुई।

फीफा निकालेगा मुश्किल से निकलने का रास्ता

फीफा के उपाध्यक्ष विक्टर मोंटाग्लिआनी ने सुझाव दिया कि स्टेडियमों को ऐसा बनाया जाएगा, जिसमें जलवायु को कंट्रोल करने की क्षमता होगी। इसके तहत, कुछ स्टेडियम में छत होंगी। इससे खिलाड़ियों और प्रशंसकों को काफी मदद मिलेगी। इसके अलावा, अधिकारी लगातार तापमान की निगरानी करेंगे। रेफरी को जब आवश्यक लगेगा, वो ड्रिंक्स ब्रेक लेने का फैसला कर सकेगा।

गलतियों से लेगा सबक: अमरीका ने 1994 जून-जुलाई में फीफा विश्व कप की मेजबानी की थी। उस समय भी काफी गर्मी पड़ी थी। लेकिन अच्छे इंतजाम नहीं होने के कारण अमरीका की आलोचना हुई थी।